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मुख्यमंत्री ने मिशन शक्ति के ‘निर्भया-एक पहल’ कार्यक्रम का शुभारम्भ किया

वेबवार्ता(न्यूज़ एजेंसी) /अनुराग वर्मा
लखनऊ 29 सितम्बर। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि नारी सुरक्षा, सम्मान व स्वावलम्बन राज्य सरकार की प्राथमिकता है। प्रदेश सरकार द्वारा इस दिशा में निरन्तर कार्य किया जा रहा है। प्रदेश की बहन, बेटियों की सुरक्षा, सम्मान व स्वावलम्बन के लिए मिशन शक्ति अभियान चलाया जा रहा है। वर्तमान में इस अभियान को विभिन्न विभागों के अन्तर्विभागीय समन्वय के माध्यम से आगे बढ़ाया जा रहा है। इसी कड़ी में आज मिशन शक्ति के तृतीय चरण के अन्तर्गत सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन विभाग द्वारा ‘निर्भया-एक पहल’ कार्यक्रम प्रारम्भ किया गया है।
मुख्यमंत्री आज यहां लोक भवन में मिशन शक्ति के तृतीय चरण के अन्तर्गत सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन विभाग द्वारा आयोजित ‘निर्भया-एक पहल’ कार्यक्रम का शुभारम्भ करने के पश्चात अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। इसके तहत प्रदेश के सभी 75 जनपदों में प्रति जनपद 1,000 महिलाओं के लिए 03 दिवसीय कौशल विकास प्रशिक्षण तथा 01 दिवसीय जागरूकता कार्यक्रम संचालित किया जा रहा है। इस अवसर पर मुख्यमंत्री जी ने अपने कर कमलों से 12 महिलाओं को कौशल विकास एवं प्रशिक्षण किट वितरित किये। साथ ही, महिला उद्यमी हेल्पलाइन 1800-212-6844 तथा वेबसाइट ww.msmemissionshakti.in का शुभारम्भ किया। उन्होंने डाक विभाग के सहयोग से सभी 75 जनपदों के ओ0डी0ओ0पी0 उत्पाद के विशेष कवर व विशेष विरूपण का अनावरण एवं विमोचन भी किया। उन्होंने प्रशिक्षण पुस्तिका का भी विमोचन किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एम0एस0एम0ई0 विभाग की ‘निर्भया-एक पहल’ से प्रदेश की महिलाओं को सामाजिक एवं आर्थिक रूप से सबल व सुरक्षित बनाने में मदद मिलेगी। सुरक्षा, सम्मान व स्वावलम्बन एक-दूसरे से जुड़े हैं। सुरक्षा के वातावरण में महिलाओं को स्वावलम्बी बनाते हुए उनकेे सम्मान में वृद्धि एवं उसकी रक्षा की जा सकती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा मिशन शक्ति के अन्तर्गत चरणबद्ध रूप से विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किये गये। प्रदेश के गृह विभाग, महिला कल्याण विभाग, ग्राम्य विकास, पंचायतीराज विभाग, नगर विकास विभाग के बाद आज एम0एस0एम0ई0 विभाग इस कार्यक्रम के माध्यम से मिशन शक्ति अभियान से जुड़ गया है। अब तक एम0एस0एम0ई0 विभाग पुरुषों के स्वावलम्बन के लिए कार्य कर रहा था। उन्होंने प्रसन्नता व्यक्त की कि अब एम0एस0एम0ई0 विभाग 75,000 महिलाओं को प्रशिक्षित करते हुए उनके स्वावलम्बन के कार्य को आगे बढ़ा रहा है, जिसकी आज प्रदेश में शुरुआत की गयी है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने विगत साढे़ चार वर्ष के कार्यकाल में डेढ़ लाख युवाओं को पुलिस में भर्ती किया है। इस पुलिस भर्ती में 20 प्रतिशत प्रदेश की बेटियों को स्थान मिला है। आज प्रदेश में 30 हजार महिला पुलिसकर्मी कार्यरत हैं। पहले महिला पुलिसकर्मियों को फील्ड ड्यूटी नहीं प्रदान की जाती थी। प्रदेश सरकार ने महिला पुलिसकर्मियों की क्षमता पर विश्वास करते हुए उन्हें फील्ड ड्यूटी प्रदान की है। साथ ही, वह मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना, मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना, निराश्रित महिला पेंशन योजना, वृद्धावस्था पेंशन योजना, प्रधानमंत्री मुद्रा योजना, प्रधानमंत्री स्टार्टअप व स्टैण्डअप योजना, प्रधानमंत्री मातृ वन्दना योजना सहित विभिन्न योजनाओं से लोगों को जोड़ रही हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि एम0एस0एम0ई0 विभाग को जिम्मेदारी दी गयी है कि अगले तीन माह में सभी 75 जनपदों में एक-एक हजार लोगों अर्थात 75,000 लोगों को विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना से जोड़कर उन्हें प्रशिक्षित करते हुए स्वावलम्बी बनाएं। विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना के विभिन्न ट्रेड्स में से कई ट्रेड महिलाओं के लिए विशेषीकृत हो सकते हैं। इन महिलाओं को प्रशिक्षण व टूलकिट उपलब्ध कराने की कार्यवाही की जानी चाहिए। साथ ही, उन्हें प्रशिक्षण के दौरान एक निश्चित मानदेय भी प्रदान किया जाना चाहिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि नारी दृढ़ निश्चय व आत्मशक्ति से कठिन से कठिन कार्याें को सम्पादित कर सकती हैं। इन कार्याें में समाज का आंशिक सहयोग मिलने पर भी वह सफलता की नयी ऊँचाइयांे को छू सकती हैं। झांसी में बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर इसका सर्वाेत्तम उदाहरण है। 600 ग्रामों की महिलाओं द्वारा संचालित यह संस्था 04 करोड़ रुपये प्रतिवर्ष का लाभ प्राप्त कर रही है। गांव-गांव में दुग्ध समितियों का गठन करके महिला सशक्तिकरण के इस अभियान को आगे बढ़ाया जा सकता है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि महिलाएं सिलाई, कढ़ाई के कार्याें सहित रेडीमेड गारमेण्ट्स के उद्योग को अधिक कुशलता से आगे बढ़ा सकती हैं। आने वाले समय में रेडीमेड गारमेण्ट्स का हब उत्तर प्रदेश हो सकता है। इसके लिए महिलाओं को विशेष प्रशिक्षण, तकनीक, मशीनें, कच्चा माल उपलब्ध कराने की आवश्यकता है। इस दिशा में प्रयास करके उत्तर प्रदेश, चीन व वियतनाम जैसे देशों को पीछे छोड़कर विश्वस्तर पर अपना स्थान बना सकता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन व प्रदेश सरकार के प्रयासों से कोरोना महामारी नियंत्रित अवस्था में है। इस दौरान हमें इन रचनात्मक कार्याें को एक सकारात्मक भाव से आगे बढ़ाना होगा। प्रत्येक जिले की एक-एक हजार प्रशिक्षित महिलाओं का सम्मेलन होना चाहिए, जिससे अन्य लोगों को प्रेरणा प्राप्त होगी। वह परिवार व समाज की मार्गदर्शिका के रूप में कार्य करेंगी। प्रदेश सरकार महिला समर्थित ऐसे प्रोत्साहन कार्यक्रमों को निरंतर आगे बढ़ाने के लिए लगातार कार्य करती रहेगी। उन्होंने कहा कि अगले तीन माह में इन 75,000 महिलाओं को बैंकों से जोड़ते हुए इनके स्वावलम्बन के कार्याें को एम0एस0एम0ई0 विभाग सम्पादित करेगा।
इस अवसर पर सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने कहा कि एम0एस0एम0ई0 विभाग की ‘एक जनपद, एक उत्पाद योजना’ की चर्चा पूरे विश्व में है। इस योजना के समर्थित उत्पाद के प्रति लोगों में अपनत्व का भाव विकसित हो रहा है।
सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम राज्यमंत्री चौधरी उदयभान सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश अपनी साख व शक्ति में निरंतर वृद्धि कर रहा है। उत्तर प्रदेश एक नये विश्वास व ऊर्जा के साथ नारी गरिमा की रक्षा के लिए प्रतिबद्ध है।
इस अवसर पर मुख्य सचिव आर0के0 तिवारी, अपर मुख्य सचिव एम0एस0एम0ई0 एवं सूचना नवनीत सहगल, चीफ पोस्ट मास्टर जनरल उ0प्र0 कौशलेन्द्र कुमार सिन्हा, आयुक्त एवं निदेशक उद्योग मनीष चौहान, निदेशक सूचना शिशिर सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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