वेबवार्ता(न्यूज़ एजेंसी) /अनुराग वर्मा
लखनऊ 29 सितम्बर। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर जीरो टालरेन्स की नीति के तहत अपराधियों के विरूद्ध की जा रही कड़ी कार्यवाही के अन्तर्गत आर्थिक अपराध करने वाले भगोड़े अपराधियों के विरूद्ध अभियान चलाकर उनकी गिरफ्तारी किये जाने के निर्देश दिये गये हैं।
अपर मुख्य सचिव, गृह अवनीश कुमार अवस्थी की अध्यक्षता में गत् दिवस लोक भवन में आर्थिक अपराध शाखा के अधिकारियों के साथ एक उच्च स्तरीय बैठक में इस इकाई द्वारा वर्तमान सरकार के कार्यकाल में हुई कार्यवाही की गहन समीक्षा की गई।
आर्थिक अपराध अनुसंधान संगठन का कार्य देख रहे पुलिस महानिदेशक आर0के विश्वकर्मा ने बताया कि इस संगठन की कार्यणाली को और अधिक चुस्त दुरूस्त व प्रभावी बनाने के प्रयासो के सार्थक परिणाम सामने आये है। वर्तमान सरकार के कार्यकाल में वर्ष 2017 से 31 अगस्त 2021 तक आर्थिक अपराध शाखा द्वारा 669 विवेचनाओं का निस्तारण किया गया।
उल्लेखनीय है कि ई0ओ0डब्लू0 के इतिहास में पहली बार वर्ष 2018 में जाँच/विवेचनाओं के निस्तारण की संख्या सौ से ऊपर पहुँची। वर्ष 2019 में 239 जाँच/विवेचनाओं का निस्तारण किया गया जो कि ई.ओ.डब्लू. के इतिहास में एक वर्ष में सर्वाधिक निस्तारित प्रकरणों की संख्या है।
वर्तमान सरकार के कार्यकाल में रिकार्ड 244 अभियुक्तों के विरूद्ध विशेष प्रयास कर अभियोजन स्वीकृति प्राप्त की गयी। साथ ही 16 अभियुक्तों के विरूद्ध लुकऑउट नोटिस जारी किये गये जिसके आधार पर 3 अभियुक्तो को विभिन्न एयर पोर्ट पर रोक कर उनके विरूद्ध वैधानिक कार्यवाही की गई। बहुचर्चित बाइक बोट घोटाला में एक अभियुक्त के विरुद्व ई0ओडब्लू0 द्वारा सी0बी0आई0 से समन्वय स्थापित कर रेड कार्नर नोटिस जारी कराया गया, जो इस संगठन के इतिहास में पहली बार हुआ है।
मेसर्स बुश फूड्स प्रा.लि. प्रकरण के निदेशको द्वारा कूट रचित तरीके से 1.76 करोड़ की धान खरीद से सम्बंधित मुकदमें में दो अभियुक्तों के विरूद्ध यूनाइटेड किंगडम से प्रत्यर्पण की कार्यवाही करायी गयी व अभियुक्तों को लंदन में गिरफ्तार कराया गया, जिनको भारत वापस लाने हेतु यूनाइटेड किंगडम के न्यायालय में विचारण प्रचलित है।
आर्थिक अपराध से जुड़े भ्रष्टाचार के संगीन मामलों एवं गंभीर प्रशासकीय व वित्तीय अनियमितताओं संबंधी 34 जांच/विवेचना पूर्ण करके दोषी अधिकारियों व कर्मचारियों के विरुद्व वैधानिक कार्यवाही शुरू की गयी। विभिन्न शासकीय विभागों/सरकारी संस्थाओं/निजी संस्था के कुल-434 अभियुक्तों (लोकसेवक- 175 गैर सरकारी-259) के विरुद्व कठोर वैधानिक कार्यवाही करते हुये 75 अभियुक्तों की गिरफ्तारी की गयी। 175 अधिकारियों/कर्मचारियों को विभिन्न जांच/विवेचना में भ्रष्टाचार का दोषी पाया गया।
ई.ओ.डब्लू में सेक्टरवार थानो के सृजन की कार्यवाही चल रही है। इस कड़ी में 4 सेक्टरों क्रमशः लखनऊ, कानपुर, मेरठ एवं वाराणसी को थाने के रूप में अधिसूचित किया गया। फलस्वरूप अब ई.ओ.डब्लू के थानो में अभियोग दर्ज किये जा रहे है।
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