वेब वार्ता (न्यूज़ एजेंसी)/ अजय कुमार वर्मा
लखनऊ 4 अगस्त। भारतीय रेल, भारत में राष्ट्रीय रेल परिवहन प्रणाली का एक प्रमुख आधार है। यह विश्व के सबसे बड़े और व्यस्ततम रेलवे नेटवर्क्स में से एक है जो देश के हजारों शहरों और नगरों को परस्पर जोड़ते हुए लाखों लोगों को यातायात का एक महत्वपूर्ण साधन उपलब्ध कराता है। पिछले 9 वर्षों से भारतीय रेल के आधुनिकीकरण की प्रक्रिया के अंतर्गत, आधारभूत ढांचे, तकनीक और यात्री सुविधाओं को बेहतर बनाने के विभिन्न प्रयास शामिल हैं। साथ ही रेलवे स्टेशनों की पुनर्सज्जा, नई रेलवे लाइनें बिछाने, शत-प्रतिशत विद्युतीकरण और यात्रियों एवं परिसंपत्तियों की संरक्षा को बढ़ाने जैसी व्यापक गतिविधियां शामिल हैं ।
उत्तर रेलवे ,लखनऊ मंडल के मण्डल कार्यालय में एक पत्रकार वार्ता में मण्डल रेल प्रबंधक,डॉ. मनीष थपल्याल ने पत्रकारों को संबोधित करते हुए “अमृत भारत स्टेशन योजना” के अंतर्गत मण्डल के 15 स्टेशनों के पुनर्विकास के सम्बन्ध में विस्तार पूर्वक जानकारी दी। विदित हो कि आगामी रविवार दिनांक 06अगस्त को प्रधानमंत्री पूरे भारत वर्ष के 508 स्टेशनों का वर्चुअल शिलान्यास करेंगे। इस विषय में मण्डल रेल प्रबन्धक ने अवगत कराया कि इस योजना के अंतर्गत मंडल के अमेठी ,दर्शन नगर ,बाराबंकी जं.,भदोही जं.,जौनपुर जं०, शाहगंज, जंघई , उतरेटिया , प्रतापगढ़, प्रयाग जं०, फूलपुर , रायबरेली, सुल्तानपुर , उन्नाव एवं काशी स्टेशन चयनित किये गए है तथा इन स्टेशनों को पुनर्विकसित करके आधुनिक यात्री सुविधाओं से युक्त किया जायेगा तथा यह सभी स्टेशन विश्वस्तरीय सुविधाओं से सुसज्जितकिये जायेंगे। इस कार्य में ७७३६ करोड़ की लगत स्वीकृत की गयी है।
उन्होंने आगे बताया कि ‘अमृत भारत स्टेशन योजना’ के अंतर्गत दी जाने वाली सुविधाओं में अवांछित ढांचों को हटाकर रेलवे स्टेशन तक सुगम पहुँच बनाना, बेहतर प्रकाश व्यवस्था, खुले सर्कुलेटिंग एरिया, उन्नत पार्किंग क्षेत्र, दिव्यांगजनों के अनुकूल आधारभूत सुविधाएं, हरित और नवीनीकृत ऊर्जा के उपयोग से पर्यावरण-अनुकूल इमारतें शामिल हैं ।
स्टेशन डिजाइन के मानक बिन्दु इस प्रकार होंगे :
• स्टेशनों का सिटी सेंटरों के रूप में विकास
• शहर के दोनों छोरों का एकीकरण
• स्टेशन भवनों का सुधार/पुनर्विकास
• आधुनिक यात्री सुविधाओं का प्रावधान
• बेहतर यातायात व्यवस्था और इंटरमोडल इंटीग्रेशन
• रेल यात्रियों को मार्गदर्शन देने के लिए एक-समान और सहायक सूचक चिन्ह
• मास्टर प्लान में उचित संपत्ति विकास का प्रावधान
• लैंडस्केपिंग, स्थानीय कला और संस्कृति
इन गतिविधियों के बीच, 3 स्टेशनों पर कार्य पूरा हो गया है । इनमें मध्यप्रदेश में रानी कमलापति रेलवे स्टेशन, कर्नाटक के बंगलुरू में सर एम विश्वेश्वरैया टर्मिनल स्टेशन और गुजरात में गांधी नगर कैपिटल स्टेशन शामिल हैं। इस अवसर पर डीसीएम रेखा शर्मा भी उपस्थित थी।
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